09 May 2021 12:26 AM
ख़बरमंडी न्यूज़, बीकानेर। डॉ तनवीर मालावत की फोर्टीस अस्पताल में आज रात ऑक्सीजन ना मिलने की वजह से कुछ मरीजों ने दम तोड़ दिया। तीन मृतकों के परिजनों ने ऑक्सीजन ना मिलने की वजह से मौत की पुष्टि की है। अस्पताल ने प्रशासन पर ऑक्सीजन समय पर उपलब्ध ना करवाने के आरोप लगाए हैं। वहीं प्राइवेट अस्पताल को ऑक्सीजन आपूर्ति के प्रभारी जिला परिषद सीईओ ओमप्रकाश ने हताहत होने की ख़बरों को निराधार बताया है। एक बयान जारी कर जांच व अस्पताल पर कार्रवाई की चेतावनी दी गई है। सूत्रों से ख़बर यह भी आ रही है कि ऑक्सीजन की कमी नहीं थी बल्कि उस दौरान बिजली चली गई थी। जिसके बाद अस्पताल मैनेज नहीं कर पाया और गंभीर मरीजों को ऑक्सीजन नहीं मिल पाई। मरने वालों में सरदारशहर की एक महिला, मोहन सुराणा का रिश्तेदार व एक अन्य शामिल है। हालांकि दावे इससे भी अधिक मौतों को किए जा रहे हैं मगर प्रमाण ना होने के कारण अभी सत्यता की जांच जारी है। मोहन सुराणा ने कहा है कि लापरवाही निजी अस्पताल की नहीं बल्कि प्रशासन की है। लेकिन इसी घटना के बीच मालावत की अस्पताल में रेमडेसिवर इंजेक्शन की कालाबाजारी की वारदात भी हुई बताते हैं। सरदारशहर तहसील निवासी दिनेश ने कहा है कि वे अपनी मां को देर रात ढ़ाई बजे अस्पताल लाए थे। भर्ती करवाने से पहले तीस हजार रुपए जमा करवाए। आज 8:15 बजे ऑक्सीजन बंद हो गई, जो 9बजकर 2 मिनट तक बंद रही। मौत से आधे घंटे पहले अस्पताल ने रेमडेसिवर इंजेक्शन लगवाने को कहा। कहा कि इससे मां बच जाएगी। रेमडेसिवर के साठ हजार रुपए लिए।
बता दें कि रेमडेसिवर की कीमत अलग अलग ब्रांड्स के मुताबिक 900 से 4200 रूपए है। अस्पताल अधिकतर 6 इंजेक्शन मरीज़ को एक साथ सुपुर्द करते हैं। आज भी अगर अधिकतम 4200 वाले 6 इंजेक्शन सुपुर्द किए हों तब भी 25800 रूपए का बिल बनता है। ऐसे में अस्पताल ने 60 हजार रूपए किस बात के लिए। सवाल है कि क्या मौत के डर का फायदा उठाया जा रहा है? हमारे पास मृतका के पुत्र का वीडियो भी है जिसमें वह साफ तौर पर अस्पताल के कारनामे उजागर कर रहा है। हालांकि ऑक्सीजन ना मिलने से हुई मौतों के पीछे जिम्मेदारी किसकी रही, यह सामने आना भी जरूरी है। देखें वीडियो
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